Home Latest चर्चित प्रशिक्षु IAS अधिकारी पूजा खेडकर की मुश्किलें बढ़ीं, दो मई को दिल्ली पुलिस के सामने होंगी पेश

चर्चित प्रशिक्षु IAS अधिकारी पूजा खेडकर की मुश्किलें बढ़ीं, दो मई को दिल्ली पुलिस के सामने होंगी पेश

by Sanjay Kumar Srivastava
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Trainee IAS Officer Pooja Khedkar

सुप्रीम कोर्ट ने अगली सुनवाई तक खेडकर के खिलाफ गिरफ्तारी जैसे कोई दंडात्मक कदम नहीं उठाने का आदेश दिया. अब अगली सुनवाई 21 मई को होगी.

चर्चित प्रशिक्षु IAS अफसर पूजा खेडकर की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें दो मई को दिल्ली पुलिस के सामने पेश होने के लिए कहा है. वह सिविल सेवा परीक्षा में धोखाधड़ी करने, ओबीसी तथा दिव्यांगता कोटे का गलत लाभ उठाने की आरोपी हैं. उधर, न्यायमूर्ति बीवी नागरत्ना और न्यायमूर्ति सतीश चंद्र शर्मा की पीठ ने 21 मई तक खेडकर के खिलाफ किसी भी दंडात्मक कार्रवाई पर रोक लगा दी है.

पीठ ने कहा, “ऐसा प्रतीत होता है कि याचिकाकर्ता के खिलाफ कोई ठोस जांच नहीं हुई है. इन परिस्थितियों में हम याचिकाकर्ता को 2 मई को सुबह 10.30 बजे सहायक पुलिस आयुक्त, सेंट्रल रेंज, अपराध शाखा, दूसरी मंजिल, कमला मार्केट पुलिस स्टेशन, दिल्ली के समक्ष पेश होने का निर्देश देते हैं. आदेश में कहा गया, “यह देखने की आवश्यकता नहीं है कि प्रतिवादी/पुलिस अधिकारी याचिकाकर्ता से 2 मई और/या किसी अन्य तारीख को पूछताछ करने के लिए स्वतंत्र है, जिस पर वह चाहे. पीठ ने अगली सुनवाई तक खेडकर के खिलाफ गिरफ्तारी जैसे कोई दंडात्मक कदम नहीं उठाने का आदेश दिया.

दिल्ली पुलिस को जांच शीघ्र पूरी करने का निर्देश

पीठ ने कहा कि याचिकाकर्ता को उपरोक्त अंतरिम संरक्षण इस शर्त पर दिया गया है कि याचिकाकर्ता प्रतिवादी/पुलिस प्राधिकारी द्वारा की जाने वाली जांच में सहयोग करेगा. पीठ ने दिल्ली पुलिस को जांच शीघ्र पूरी करने का निर्देश दिया. दिल्ली पुलिस का प्रतिनिधित्व कर रहे अतिरिक्त महाधिवक्ता एस वी राजू ने खेडकर को हिरासत में लेकर पूछताछ करने पर जोर दिया. 15 जनवरी को शीर्ष अदालत ने उन्हें गिरफ्तारी से संरक्षण प्रदान किया था और अग्रिम जमानत की उनकी याचिका पर दिल्ली सरकार और यूपीएससी से जवाब मांगा था. उसके वकील ने तब तर्क दिया था कि दिल्ली उच्च न्यायालय ने खेडकर के खिलाफ कड़ी टिप्पणियां कीं और उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी.

खेडकर पर आरोप है कि उन्होंने नौकरी में आरक्षण का लाभ प्राप्त करने के लिए 2022 UPSC परीक्षा के लिए अपने आवेदन में तथ्यों को गलत दर्शाया था. खेडकर ने सभी आरोपों को गलत बताया था. यूपीएससी ने खेडकर के खिलाफ कई कार्रवाई शुरू की, जिसमें उनकी पहचान को गलत बताकर सिविल सेवा परीक्षा में प्रयास करने के लिए आपराधिक मामला दर्ज करना शामिल था.

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